अब घरे आजा सजन परदेसिया..... मधुबाला सिन्हा July 24, 2018 मन नाहीं लागे सखी बिन रे सजनवा के बिरहिन मनवा के कइसे समुझाईं सावन के झुलुआ लागल सभे डढ़िया से पिया बिनु कइसे हम पेंगवा बढ़ाईं नेहवा के डोरिया बन्हाइल मन मितवा से हिया के दरदि... Read more
सावन आइलें.......नाहीं अइलें पियवा विदेश से $$...मधुबाला सिन्हा July 24, 2018 बरस बरस सखी बदरा सतावेला कि नाहीं अइलें पियवा विदेश से $$ भींजेला धानी चुनर ,भींजेला देहिया कि सौतिन भईल ब सिंगार रे$$$ खनकेला हरियर चूड़ी,लहके टिकुलवा हो कब अइहें पियवा हमार हो$$$... Read more